Teri Ik Chashm-e-Rahmat Se Tera Beemaar Behtar Hai Naat Lyrics

 

 

तेरी इक चश्म-ए-रहमत से तेरा बीमार बेहतर है
हज़ारों तिब्बी नुस्ख़ों से निगाह-ए-यार बेहतर है

जगह मिल जाए गर पा-पोश-गाह-ए-यार में मुझ को
ख़ुशा ये मसनद-ए-ताऊस से सद-बार बेहतर है

शहंशाही से बढ़ कर है तेरी पा-पोश-बरदारी
सिकंदर से तेरा इक ख़ादिम-ए-दरबार बेहतर है

मक़ाम-ओ-मर्तबा सारी ख़ुदाई में, मेरे आक़ा !
तेरा इस पार बेहतर है, तेरा उस पार बेहतर है

मेरे आक़ा से ख़ुशबू ख़ुल्द की यूँ अर्ज़ करती है
हर इक ख़ुशबू से तेरे जिस्म की महकार बेहतर है

खुला है ‘अय्युकुम मिस्ली’ से ये ‘उक़्दा, नदीम अख़्तर !
हर इक बेहतर से ज़ात-ए-हक़ का वो शहकार बेहतर है

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