Yaade Nabi Ka Gulshan Mehka Mehka Lagta Hai Naat Lyrics
यादे नबी का गुलशन मेहका मेहका लगता है
मेहफिल में मौजूद हैं आक़ा ऐसा लगता है
नामे-मुहम्मद कितना मीठा मीठा लगता है
प्यारे नबी का ज़िक्र भी हमको प्यारा लगता है
लब पर नग़मे सल्ले अला के, हाथों में कश्कोल
देखो तो सरकार का मंगता कैसा लगता है
आँखों में माज़ाग का कजला, सर ताहा का ताज
कैसे कहूं कमली वाला हम जैसा लगता है
ग़ौस, क़ुतब, अब्दाल, कलंदर सब उनके मोहताज
मेरा दाता हर दाता का दाता लगता है
आओ सुनाएं अपने नबी को अपने ग़म की बात
उनके इलावा कौन नियाज़ी अपना लगता है