Karta Hai Zamana Ham Pe Sitam, Sarkaar ! Karam, Ik Baar Karam Naat Lyrics
करता है ज़माना हम पे सितम, सरकार ! करम, इक बार करम
मुख़्तार हो तुम, मोहताज हैं हम, सरकार ! करम, इक बार करम
जब हम को बुलाएँगे प्यारे नबी, फिर रोक नहीं पाएगा कोई
इंशा-अल्लाह ! जाएँगे हम, सरकार ! करम, इक बार करम
ये पाँच बरस की सरकारें बनती हैं बिगड़ती रहती हैं
लहराता है ख़्वाजा तेरा अ’लम, सरकार ! करम, इक बार करम
हर दिल वाले की तमन्ना है, ये एक तमन्ना दुनिया है
रख दीजे कभी सीने पे क़दम, सरकार ! करम, इक बार करम
तयबा की खजूरें खाना है, इस दिल का हाल सुनाना है
पीना है मुझे आब-ए-ज़मज़म, सरकार ! करम, इक बार करम
होते हैं दिलों पे तेरे क़ब्ज़े, तूने तो जिलाए हैं मुर्दे
है दिल भी मेरा ग़ौस-ए-आज़म, सरकार ! करम, इक बार करम
शब्बीर का ना’रा लगाएँगे, सुल्ह-ए-कुल्लियत को मिटाएँगे
कहता है यही अख़्तर का क़लम, सरकार ! करम, इक बार करम
दिल खोल के मैं तारीफ़ करूँ, ए नूर-ए-मुजस्सम ! ना’त पढ़ूँ
पढ़ते पढ़ते निकले ये दम, सरकार ! करम, इक बार करम